Captain Yogendra Yadav: 15 गोलियां लगने के बाद भी मार गिराए थे पाकिस्तानी सैनिक,कारगिल की लड़ाई में लहराया तिरंगा
<p style="text-align: justify;"><strong>Independence Day 2022:</strong> आजादी के 75वें साल का जश्न मना रहे हमारे देश को जिस तरह से अग्रेजों की गुलामी से मुक्ति दिलाने में अनगिनत लोगों ने अपना बलिदान दिया था. आजादी के बाद भी देश की सुरक्षा,एकता और अखंडता को बनाए रखने के लिए देश के जवानों ने हर मुसीबत का समना करके भी अपनी मातृभूमि की रक्षा की है. देश के ऐसे ही एक सपूत हैं 'कैप्टन योगेन्द्र यादव'.अपने इस आर्टिकल में हम उनके शौर्य और पराक्रम के बारे में आपको बताएंगे-</p> <p style="text-align: justify;"><strong>जब शहीद हो गए सभी साथी-</strong></p> <p style="text-align: justify;">वह 5 जुलाई 1999 का दिन था. 18 ग्रनेडियर्स के 25 सैनिक आगे बढ़ रहे थे. इसी दौरान पाकिस्तान के सैनिकों ने हमला कर दिया. पाकिस्तानी ऊंचाई से गोलीबारी कर रहे थे ऐसे में वो हावी हो रहे थे. इसलिए 25 में से 18 जवानों को पीछे हटना पड़ा और मोर्चे पर 7 जवान रह गए. जिनमें योगेन्द्र यादव भी शामिल थे. इन सातों जवानों ने कई पाकिस्तानी सैनिक मार गिराए. लेकिन भारत के जवानों की संख्या कम होने की सूचना मिलते ही कई पाकिस्तानी सैनिक वहां पहुंच गए और दोनों ओर से जबरदस्त फायरिंग हुई. इसमें सातों जवानों को गोलियां लगीं. योगेन्द्र यादव को छोड़कर उनके अन्य सभी 6 साथी वहीं पर शहीद हो गए.</p> <p style="text-align: justify;"><strong>15 गोलियां लगीं फिर भी मार गिराए पाकिस्तानी सैनिक -</strong></p> <p style="text-align: justify;">योगेन्द्र यादव के साथी 6 जवान शहीद हो चुके थे. योगेन्द्र यादव भी बिल्कुल मरणासन्न अवस्था में थे. उनमें बस थोड़ी-सी सांस बाकी थी. पाकिस्तानियों को लगा कि योगेन्द्र जीवित नहीं है. भारतीय सैनिकों की तलाशी लेते पाकिस्तानियों के हाथ वो एक ग्रेनेड नहीं लग पाया जो योगेन्द्र यादव की जेब में रखा था.</p> <p style="text-align: justify;">भले ही योगेन्द्र को कई गोलियां लग चुकी थीं,लेकिन उनके दिमाग में बस एक ही बात थी कि कैसे दुश्मन को नेस्तनाबूद किया जाए. उन्होंने खुद को दोबारा मानसिक तौर पर तैयार किया और ग्रेनेड को अपनी जेब से निकालकर बुरी तरह से घायल होने के बावजूद भी पाकिस्तानी सैनिक की ओर फेंका. उनका निशाना एकदम अचूक था. ग्रेनेड ने पाकिस्तानी सैनिक के परखच्चे उड़ा दिए. अन्य पाकिस्तानी सैनिक जब तक संभल पाते पास ही पड़ी राइफल उठाकर योगेन्द्र यादव ने फायरिंग शुरू कर दी और पाकिस्तानियों को मार गिराया.</p> <p style="text-align: justify;"><strong>साथियों के पास जाकर दी महत्वपूर्ण जानकारी-</strong></p> <p style="text-align: justify;">पाकिस्तानी सैनिकों को मारने के बाद वह पास में ही बह रहे एक नाले में कूद गए. जिसमें बहकर वह अपने साथी भारतीय सैनिकों और उच्चअधिकारी के पास तक जाने में सफल रहे. जब वह नाले से कूद रहे थे तो पास ही पड़े एक पाकिस्तीन वायरलेस में भारतीय बेस पर हमला करने की बात कही जा रही थी. योगेन्द्र ने इसकी जानकारी अचेत होने से पहले अपने उच्चाधिकारी को दी. जिसके बाद भारतीय सैनिक पाकिस्तानियों को करारा जवाब देने के लिए पूरी तरह से तैयार हो गए.</p> <p style="text-align: justify;"><strong>15 गोलियां लगने के बाद भी रहे जीवित-</strong></p> <p style="text-align: justify;">इसे करिश्मा कहें या योगेन्द्र यादव की जीवटता,लेकिन 15 गोलियां लगने और शरीर से बहुत खून बह जाने के बाद भी योगेन्द्र यादव जीवित बच गए. कुछ ही महीनों पहले वह सेना अधिकारी के तौर पर लंबे समय तक अपनी सेवायें देने के बाद रिटायर हुए हैं.</p> <p style="text-align: justify;"><strong>दिया गया परमवीर चक्र-</strong></p> <p style="text-align: justify;">अपने शौर्य,पराक्रम और देशभक्ति के जज़्बे के साथ देश की रक्षा के लिए पाकिस्तानी सैनिकों को धूल चटाने वाले योगेन्द्र यादव को सर्वोच्च सैन्य सम्मान परमवीर चक्र से नवाजा गया. वह फिलहाल उत्तर प्रदेश के बुलंदशहर जिले में स्थित औरंगाबाद अहीर गांव में रहते हैं. योगेन्द्र यादव की देश सेवा के लिए पूरा देश उन्हें सैल्यूट करता है. </p> <p style="text-align: justify;"><strong>ये भी पढ़ें- <a title="Independence Day 2022: आतंकी कसाब को पकड़ने वाले शहीद तुकाराम, जिनके बाज़ुओं की पकड़ गोलियां लगने पर भी ढीली नहीं पड़ी" href="https://ift.tt/zjsHGUr" target="">Independence Day 2022: आतंकी कसाब को पकड़ने वाले शहीद तुकाराम, जिनके बाज़ुओं की पकड़ गोलियां लगने पर भी ढीली नहीं पड़ी</a></strong></p> <p style="text-align: justify;"><strong><a title="Independene Day 2022: अंग्रेजों की लाठी से हुए थे लहूलुहान, पिता से भी जताते थे असहमति, ऐसे थे आजादी के नायक नेहरू" href="https://ift.tt/rlXFhvS" target="">Independene Day 2022: अंग्रेजों की लाठी से हुए थे लहूलुहान, पिता से भी जताते थे असहमति, ऐसे थे आजादी के नायक नेहरू</a></strong></p> TAG : imdia news,news of india,latest indian news,india breaking news,india,latest news,recent news,breaking news,news SOURCE : https://ift.tt/qsCdhuz
comment 0 Comments
more_vert