<p style="text-align: justify;"><strong>रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया</strong> ने आज द्विमासिक मौद्रिक नीति समीक्षा के तहत वित्त वर्ष 2022-23 की पहली मौद्रिक नीति का एलान किया जिसमें जीडीपी ग्रोथ के अनुमान को कम करने के साथ महंगाई के अनुमान को बढ़ा दिया है. वहीं नीतिगत दरों में कोई बदलाव ना करते हुए रेपो रेट को 4 फीसदी और रिवर्स रेपो रेट को 3.35 फीसदी पर बरकरार रखा है. यहां आप इससे जुड़े 7 अहम बातों को क्रमवार समझ सकते हैं.</p> <p style="text-align: justify;"><strong>1.</strong> हालांकि, आरबीआई ने चालू वित्त वर्ष (2022-23) के लिए अपने सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) की वृद्धि के अनुमान को घटा दिया है जबकि मुद्रास्फीति के अनुमान को बढ़ा दिया है. रिजर्व बैंक के गवर्नर शक्तिकांत दास ने मौद्रिक नीति समिति (एमपीसी) की बैठक के नतीजों की घोषणा करते हुए कहा कि मुद्रास्फीति को काबू में रखने के साथ आर्थिक वृद्धि को बरकरार रखने के लिए केंद्रीय बैंक अपने नरम रुख में थोड़ा बदलाव करेगा. गवर्नर दास ने कहा कि केंद्रीय बैंक किसी नियम से बंधा नहीं है। उन्होंने कहा, ‘‘अर्थव्यवस्था के ‘संरक्षण’ के लिए रिजर्व बैंक सभी उपलब्ध साधनों का इस्तेमाल करेगा</p> <p style="text-align: justify;"><strong>2.</strong> रिजर्व बैंक ने आखिरी बार 22 मई, 2020 को रेपो रेट में बदलाव किया था. इस बार भी नीतिगत दरों के पहले के स्तर पर बरकरार रहने का मतलब है कि बैंक कर्ज की मासिक किस्त में कोई बदलाव नहीं होगा</p> <p style="text-align: justify;"><strong>3.</strong> एमपीसी ने चालू वित्त वर्ष के लिए आर्थिक वृद्धि दर के अनुमान को घटाकर 7.2 प्रतिशत कर दिया है. फरवरी की मौद्रिक समीक्षा बैठक में एमपीसी ने आर्थिक वृद्धि दर 7.8 प्रतिशत रहने का अनुमान जताया था. </p> <p style="text-align: justify;"><strong>4.</strong> इसके साथ ही केंद्रीय बैंक ने चालू वित्त वर्ष में मुद्रास्फीति के 5.7 प्रतिशत के स्तर पर रहने की संभावना जतायी है. पहले इसके 4.5 प्रतिशत पर रहने का अनुमान लगाया गया था।</p> <p style="text-align: justify;"><strong>5.</strong> उन्होंने कहा कि भारतीय अर्थव्यवस्था नई एवं बहुत बड़ी चुनौतियों से जूझ रही है. उन्होंने कहा कि भारतीय अर्थव्यवस्था में पर्याप्त विदेशी मुद्रा भंडार मौजूद है और रिजर्व बैंक इसे सभी चुनौतियों से बचाकर रखने के लिए काम करेगा. </p> <p style="text-align: justify;"><strong>6.</strong> हालांकि शक्तिकांत दास ने कहा कि ओमीक्रोन लहर कमजोर पड़ने से होने वाले अनुमानित लाभों को बढ़े हुए भू-राजनीतिक तनावों ने निष्प्रभावी कर दिया है. </p> <p style="text-align: justify;"><strong>7.</strong> आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास ने कहा कि रिजर्व बैंक ग्राहक सेवाओं की समीक्षा करेगा. उन्होंने यूपीआई का इस्तेमाल कर एटीएम से बिना कार्ड (कार्डलेस) के निकासी की सुविधा का विस्तार सभी बैंकों के करने की भी घोषणा की. </p> <p style="text-align: justify;"><strong>ये भी पढ़ें</strong></p> <p style="text-align: justify;"><a href="
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